देहरादून | इन दिनों मीडिया की सुर्खियां बना ज्ञानवापी मस्जिद मामले की सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर सुनवाई करने वाले जिला जज का है उत्तराखंड से बेहद खास संबंध | वाराणसी के यह जिला जज डॉ. अजय कृष्णा विश्वेशा मूलत हरिद्धार जिले के रहने वाले हैं। अपने तीन दशक के लंबे करियर में वह अनेकों न्यायिक पदों पर उत्तराखंड में अलग-अलग जगह कार्य कर चुके हैं।
वरिष्ठ न्यायमूर्ति डॉ. अजय कुमार विश्वेशा का जन्म साल 1964 में हरिद्धार जनपद में हुआ था । जहां विज्ञान में स्नातक होने के बाद उन्होंने 1984 में एलएलबी और 1986 में एलएलम किया है। अपने कैरियर की शुरुआत उन्होने वर्ष 1990 में कोटद्धार की मुंसिफ कोर्ट से की । इसके अतिरिक्त वह देहरादून में भी विभिन्न न्यायिक पदों पर कार्यरत रहे हैं | वर्तमान में वह वाराणसी जिला जज बनने से पहले बुलंदशहर के जिला जज रह चुके है। इसके अलावा वह सहारनपुर और इलाहाबाद में भी बतौर जिला जज काम कर चुके हैं ।
आज ज्ञानवापी जैसा देश का सबसे ज्वलंत मुद्दा सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद उनकी कोर्ट में है। दरअसल सुप्रीम कोर्ट ने अपने अहम आदेश में सुनवाई को ट्रांसफर कर दिया था । इसके बाद सिविल जज के बजाय अब जिला जज केस की सुनवाई करेंगे। इस मुद्दे पर अभी तक जो आदेश दिए गए हैं वो सिविल जज ने ही दिए हैं। जिसपर मुस्लिम पक्ष इसे लेकर आपत्ति जताता आया है। सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश में कहा था कि जिला जज प्रॉयरिटी बेसिस पर ज्ञानवापी मामले की सुनवाई करें। जो भी प्रसीडिंग्स सिविल जज के पास लंबित थीं अब वो सभी डिस्ट्रिक्ट जज के पास ट्रांसफर होंगी ।